दूसरी चिता
जब से हरिचरण स्थानान्तरित होकर आये हैं, तब से कार्यालय में वातावरण ही बदला-बदला सा नजर आने लगा है। इस छोटे कार्यालय में काम-काज के बीच किस्से कहानियों और हंसी ठहाकों के दौर में समय कब निकल जाता, पता ही नहीं चलता।
जब से हरिचरण स्थानान्तरित होकर आये हैं, तब से कार्यालय में वातावरण ही बदला-बदला सा नजर आने लगा है। इस छोटे कार्यालय में काम-काज के बीच किस्से कहानियों और हंसी ठहाकों के दौर में समय कब निकल जाता, पता ही नहीं चलता।