जैनों के तीर्थस्थान – मंदिर शिल्पकला के सुंदर नमूने
जैन दर्शन निकीथकवादी है। उसके फलस्वरुप तीर्थस्थानों का इस दर्शन में अर्थ कुछ भिन्न है। शाश्वत तीर्थ, महातीर्थ दावं अतिशय तीर्थ इस प्रकार उनके तीर्थस्थानों का वर्गीकरण किया जाता है।
जैन दर्शन निकीथकवादी है। उसके फलस्वरुप तीर्थस्थानों का इस दर्शन में अर्थ कुछ भिन्न है। शाश्वत तीर्थ, महातीर्थ दावं अतिशय तीर्थ इस प्रकार उनके तीर्थस्थानों का वर्गीकरण किया जाता है।