‘स्व’ पर आधारित जीवनदृष्टि को पुनः स्थापित करने हेतु प्रतिबद्ध हों – दत्तात्रेय होसबाले जी
भारत स्वाधीनता का अमृत महोत्सव मना रहा है. स्वतंत्रता आंदोलन सार्वदेशिक और सर्वसमावेशी था। स्वामी दयानंद सरस्वती, स्वामी विवेकानंद, महर्षि अरविंद आदि आध्यात्मिक नेतृत्व ने देश के जन और जननायकों को ब्रिटिश अधिसत्ता के विरुद्ध सुदीर्घ प्रतिरोध हेतु प्रेरित किया।महिलाओं, जनजातीय समाज तथा कला, संस्कृति, साहित्य, विज्ञान सहित राष्ट्रजीवन के…