शांतिदूतों को अब शांत रहना होगा
हमारे यहां के तथाकथित कुछ बुद्धिजीवी नेता, राष्ट्रविरोधी मीडिया जिहादी आतंकवाद को समाप्त करने का रोना तो हर समय रोते हैं; परंतु स्वयं इस राष्ट्रविरोधी आतंकवाद के विरोध में कुछ ठोस कदम उठाने का साहस नहीं करते। यही क्यों, सदा पैंतरे बदलने वाले कुछ राजनीतिक नेता भी अपने स्वार्थ के कारण इस्लामीकरण को सहयोग देते नजर आते हैं।