वास्तविक लोकतंत्र के लिए वैकल्पिक पत्रकारिता
राजतंत्र में भी लोकतंत्र की यह व्यवस्था हज़ारों वर्षों के प्रयोग व विमर्श का परिणाम थी। पश्चिम के प्रभाव में हमने स्वतंत्र होने पर डेमोक्रेसी को अपनाया और लोकतंत्र या प्रजातंत्र को भुला दिया। लोक का मन जानने के लिए पत्रकारिता एक सशक्त माध्यम हो सकता है। पत्रकारिता समाज की ऐसी रचना है जिसमें कुछ इस कार्य में दक्ष नागरिकों को दायित्व दिया जाता है कि वे लोक व प्रशासन में सेतु का कार्य करें।