ज्ञान से परिपूर्ण हो जाता है भगवान का शरणागत
निर्मानमोहा जितसङ्गदोषा अध्यात्मनित्या विनिवृत्तकामाः। द्वन्द्वैर्विमुक्ताः सुखदुःखसंज्ञै-र्गच्छन्त्यमूढाः पदमव्ययं तत् ।। भावार्थ : जो झूठी प्रतिष्ठा, मोह तथा कुसंगति से मुक्त हैं, ...
निर्मानमोहा जितसङ्गदोषा अध्यात्मनित्या विनिवृत्तकामाः। द्वन्द्वैर्विमुक्ताः सुखदुःखसंज्ञै-र्गच्छन्त्यमूढाः पदमव्ययं तत् ।। भावार्थ : जो झूठी प्रतिष्ठा, मोह तथा कुसंगति से मुक्त हैं, ...
ग्रह पर हर व्यक्ति जीवन में समृद्ध होने के लिए जीवन प्रबंधन सिखना चाहता है, खुश रहना चाहता है, शांत ...
कुरुक्षेत्र की युद्धभ्ाूमि। धीरगंभीर आवाज में संदेश दिया गया ‘तस्माद् योगी भवार्जुन’। ५ हजार से भी अधिक वर्ष पूर्व का ...
Copyright 2024, hindivivek.com