अग्निपथ योजना का विरोध – साजिश तो नहीं ?
विरोधी दल पूरी ताकत के साथ अग्निपथ योजना का विरोध करेंगे ही लेकिन अग्निपथ के खिलाफ उनकी साजिशें भी उसी तरह से बेनकाब और फ्लाप हो जायेगी जिस प्रकार से कोविड वैक्सीनेशन के खिलाफ बेनकाब हो गयी।
विरोधी दल पूरी ताकत के साथ अग्निपथ योजना का विरोध करेंगे ही लेकिन अग्निपथ के खिलाफ उनकी साजिशें भी उसी तरह से बेनकाब और फ्लाप हो जायेगी जिस प्रकार से कोविड वैक्सीनेशन के खिलाफ बेनकाब हो गयी।
भारत ने हाल ही के समय में जिस प्रकार की प्रगति विभिन्न क्षेत्रों में की है इससे वैश्विक स्तर पर भारत की साख बहुत तेजी से बढ़ी है और हमारे पड़ौस के कुछ देश एवं कुछ विकसित देश भारत से ईर्ष्या करते दिखाई दे रहे हैं। भारत सरकार द्वारा लगातार लागू की जा रही विभिन्न नवोन्मेष योजनाओं को असफल करने के प्रयास इन देशों द्वारा किए जा रहे हैं।
प्रश्न तो हर योजना पर उठती है आगे भी उठेगा। देखा जाए तो यह भारत में सैन्य नियुक्ति की दृष्टि से सबसे बड़ा सुधार है। सेना के तीनों अंगों को पहले से काफी हद तक प्रशिक्षित लोग मिल जाएंगे। जहां तक अनिवार्य सैन्य शिक्षा का प्रश्न है तो भारत में बहुत बड़ा वर्ग इसका समर्थक है। अनेक देशों में यह योजना चल रही है। कम से कम ऐसे 15 देश अवश्य हैं जहां अनिवार्य सैन्य शिक्षा व्यवस्था है।
सरकार जनता के टैक्स का पैसा किसी निकम्मे व्यक्ति (सरकारी नौकरी करने वाले) के जीवन यापन सुनिश्चित करने के लिए क्यों खर्च करेगी। अन्य सरकारी विभाग में भी यही नियम लागू हो आपकी नौकरी मात्र तीन-चार साल के लिए सुरक्षित है। यदि आपके अंदर में स्किल है तो आपको अगला काम मिलेगा वरना आप ओपेन मार्केट में है।
मैं समझता हूं यह घोषित योजना भारत वा उसके समाज के लिए अभूतपूर्व बदलाव लाने वाली है। यदि प्रत्यक्ष लाभों को देखे तो 10 वी, 12 वी लोगो के लिए अपने स्किलों को पहचानने और उसमे भारतीय सेना के अनुशासन में सीखने का स्वर्णिम अवसर है। जो उन्हें एक तरफ आत्मविश्वास वा स्वाभिमान देगा वहीं पर कम उम्र में स्वतः लोगो को रोजगार देने वाला उद्यमी बनने का सुअवसर भी प्रदान करेगा।