हिंदी विवेक
  • Login
  • परिचय
  • संपादकीय
  • पूर्वांक
  • ग्रंथ
  • पुस्तक
  • संघ
  • देश-विदेश
  • पर्यावरण
  • संपर्क
  • पंजीकरण
No Result
View All Result
  • परिचय
  • संपादकीय
  • पूर्वांक
  • ग्रंथ
  • पुस्तक
  • संघ
  • देश-विदेश
  • पर्यावरण
  • संपर्क
  • पंजीकरण
No Result
View All Result
हिंदी विवेक
No Result
View All Result

पी ले रे तू ओ मतवाला…

by विशेष प्रतिनिधि
in मनोरंजन
1

१९३२ में “मोहब्बत के आंसू ” से अपना फिल्मी कैरियर शुरू करने वाले सहगल साहब को बड़ी पहचान मिली १९३५ में देवदास से. शरत बाबू के उपन्यास पर बनी यह फिल्म कुंदनजी बड़ी पहली बड़ी सुपर हिट फिल्म थी. फिर तो अगले ग्यारह साल के सुपरस्टर थे, सहगल बाबू .

हमारी पीढ़ी वालों का बचपन थोड़ा अलहदा था . हम आख़िरी पौध हैं जिसने बचपन को भरपूर जिया है, बस्ते के बोझ से दबी पीढ़ी इस मामले में हमसे रस्क तो कर ही सकती है . हमारा बचपन फिल्मों के जूनून का आख़िरी दौर भी था, साथ ही गोल्डन और सिल्वर जुबली का भी . अब तो कुछ दिनों में ही सारा मामला तय हो जाता है, रिश्तों की ही तरह . हमारी पीढ़ी के फेवरेट हीरो गोविंदा, सनी या शाहरुख़ थे . बीच – बीच में सलमान और आमिर भी अपनी उपस्थिति दर्जा देते थे पर हमारे पापा वगैरह के जमाने से ही इन सबके बाप कहे जाते थे इलाहाबाद वाले बच्चन साहेब . वैसे वो आज भी अपनी जगह पर कायम हैं . इस मामले में उनका साथ उनके पुराने साथी ” टिंगूजी यानी ऋषि कपूर ” भी बखूबी निभा रहे हैं . दोनों के लिए स्पेसली कहानियां लिखी जा रही हैं . वो तो बाद में पता चला कि बच्चन साहब ke फेवरेट दिलीप जी थे जो कभी – कभी करेक्टर के तौर पर फिल्मों में दिख जाया करते थे . बड़े बताते थे की वो भी अपने जमाने के बड़े वाले सुपरस्टार थे . एक बार उन साहब का भी कोई इंटरव्यू हाथ लग गया तो पता चला की वो किसी सहगल के फैन रहे थे . अरे वही, जब दिल ही टूट गया ….. हम जी कर क्या करेंगे …… का ब्लैक एंड वाइट वाला बंदा, जो बीच – बीच में आकर पूरे चित्रहार का मजा बिगाड़ देता था . बहुत बाद में पता चला कि वह एक कल्ट क्लासिक गीत है और ” शाहजहां ” का यह बेहद मशहूर गाना आज भी दिल टूटे आशिकों के जबान की थिरकन है . आज उन्हीं कुंदन लाल सहगलजी हैप्पी बर्थडे है जो भारत के पहले सुपरस्टार थे .

भारत के पहले स्टार एक्टर, सुरीली धुन के मालिक और बेहद नरम दिल इंसान कुंदन लाल सहगल साहब का जन्म ११ अप्रैल १९०४ को जालंधर में हुआ था और १८ जनवरी १९४७ को वहीं उनकी मृत्यु भी हो गयी जब वे बीमारी के दौरान हवा बदलने के लिए मुंबई से अपने घर गए थे . उन्होंने हिंदी, बंगाली और तमिल भाषा की 36 फिल्मों में अभिनय किया था . ज्यादातर फ़िल्में हिंदी थीं . उन्होंने 185 के करीब गाने गाए . इनमें 110 हिंदी और बाकी ज्यादातर बंगाली थे . गुरुदेव रविंद्रनाथ टैगोर ने भी उनके गले की प्रशंसा की थी . पर धीरे – धीरे उन्हें शराब की बुरी लत लगा गयी जो अंततः उनकी मौत का कारण भी बन गयी .

१९३२ में ” मोहब्बत के आंसू ” से अपना फ़िल्मी कैरियर शुरू करने वाले सहगल साहब को बड़ी पहचान मिली १९३५ में देवदास से . शरत बाबू के उपन्यास पर बनी यह फिल्म कुंदनजी की पहली बड़ी सुपरहिट फिल्म थी . फिर तो अगले ग्यारह साल के सुपरस्टार थे, सहगल बाबू . वैसे १९३४ में ही ” पूरन भगत ” और चंडीदास ” से ही लोगों को लग गया था कि बन्दे में पोटेंशियल है . दो साल बाद ” प्रेजिडेंट ” के ” इक बंगला बने न्यारा ” ने भी खूब धूम मचाई . १९४७ में उनकी मौत के बाद ” परवाना ” रिलीज़ हुई थी जो उनकी आखिरी फिल्म थी . सुरैया और कुंदन लाल सहगल के स्टारडम से सजी यह फिल्म भी एक बड़ी हिट साबित हुई .

Share this:

  • Twitter
  • Facebook
  • LinkedIn
  • Telegram
  • WhatsApp
Tags: bollywoodentertainerentertainmenthindi vivekhindi vivek magazinemusiconlinepodcastshortvideosstageshowsupdates

विशेष प्रतिनिधि

Next Post
हास्य विशेषांक – मई २०१८

हास्य विशेषांक - मई २०१८

Comments 1

  1. Anonymous says:
    7 years ago

    This is nice

    Reply

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

हिंदी विवेक पंजीयन : यहां आप हिंदी विवेक पत्रिका का पंजीयन शुल्क ऑनलाइन अदा कर सकते हैं..

Facebook Youtube Instagram

समाचार

  • मुख्य खबरे
  • मुख्य खबरे
  • राष्ट्रीय
  • राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • क्राइम

लोकसभा चुनाव

  • मुख्य खबरे
  • मुख्य खबरे
  • राष्ट्रीय
  • राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • क्राइम

लाइफ स्टाइल

  • मुख्य खबरे
  • मुख्य खबरे
  • राष्ट्रीय
  • राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • क्राइम

ज्योतिष

  • मुख्य खबरे
  • मुख्य खबरे
  • राष्ट्रीय
  • राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • क्राइम

Copyright 2024, hindivivek.com

Facebook X-twitter Instagram Youtube Whatsapp
  • परिचय
  • संपादकीय
  • पूर्वाक
  • देश-विदेश
  • पर्यावरण
  • संपर्क
  • पंजीकरण
  • Privacy Policy
  • Terms and Conditions
  • Disclaimer
  • Shipping Policy
  • Refund and Cancellation Policy

copyright @ hindivivek.org by Hindustan Prakashan Sanstha

Welcome Back!

Login to your account below

Forgotten Password?

Retrieve your password

Please enter your username or email address to reset your password.

Log In

Add New Playlist

No Result
View All Result
  • परिचय
  • संपादकीय
  • पूर्वांक
  • ग्रंथ
  • पुस्तक
  • संघ
  • देश-विदेश
  • पर्यावरण
  • संपर्क
  • पंजीकरण

© 2024, Vivek Samuh - All Rights Reserved

0