हंसी को हंसी में मत टालिए
क्या खूब लिखा है निदा फाजली ने इस शायरी में। वैसे बच्चों को हंसाना कोई बड़ी बात नहीं है। बच्चों का मन इतना साफ होता है कि वे पिछली सारी बातों को भूलकर तुरंत मुस्कुराने लगते हैं।
क्या खूब लिखा है निदा फाजली ने इस शायरी में। वैसे बच्चों को हंसाना कोई बड़ी बात नहीं है। बच्चों का मन इतना साफ होता है कि वे पिछली सारी बातों को भूलकर तुरंत मुस्कुराने लगते हैं।
अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य मंदिर बनाने के लिए पूरे भारत में निधि संकलन अभियान चलाया जा रहा है। वैसे तो भारत में और विदेशों में ऐसे कई धनाढ्य भारतीय हैं, जो यदि ठान लें तो एक साथ आकर भव्य राम मंदिर का निर्माण केवल अपने बलबूते भी कर सकते हैं
विश्व के सबसे बड़े लोकतंत्र में आंदोलन होना कोई नई बात नहीं है। स्वतंत्रता आंदोलन से शुरू हुआ यह सिलसिला अभी भी जारी है। शाहीन बाग के बाद दिल्ली में किसान आंदोलन की गूंज है।
राष्ट्रीय स्वंय सेवक संघ के विचारक माधव गोविंद वैद्य का शनिवार को एक निजी अस्पताल में निधन हो गया। माधव गोविंद वैद्य के पोते विष्णु वैद्य ने इसकी जानकारी दी और बताया कि वह कोरोना से संक्रमित थे लेकिन इलाज के बाद वह पूरी तरह से ठीक हो गये और घर…
निष्पक्ष चुनाव मजबूत लोकतंत्र की आधारभूत आवश्यकता और पहला पायदान होते हैं। पिछले महीने में अमेरिका के राष्ट्रपति पद के लिए और भारत के बिहार राज्य में मुख्यमंत्री पद के लिए चुनाव हुए थे। दोनों ही चुनाव भारत की दृष्टि से बहुत महत्वपूर्ण थे।
पर्यावरण दो शब्दों के मेल से बना है। परि और आवरण। परि अर्थात अच्छी तरह और आवरण अर्थात संरक्षीत। दूसरे शब्दों मे हम यह कह सकते हैं कि पर्यावरण हमारी पृथ्वी का एक ऐसा आवरण या रक्षा कवच है जो हमारे समस्त जीवों को पहाड़ों, नदियों, सागरों और वनों की अनुकुल प्राकृतिक परिस्थितियां और वायु मण्डल में सांस लेने योग्य प्राणवायु की पर्याप्त उपस्थिती के योग से निर्मित होता है।
दीपावली तमस को मिटाकर जीवन में रौशनी लाने वाला त्यौहार है। सामाजिक जीवन में तमस का अर्थ निष्क्रीयता, आलस्य, नकारात्मकता और निराशा है, जिसे हम दीपावली के दिन अपने कर्मरूपी दिये के माध्यम से मिटाने का संकल्प लेते हैं। दीपावली के दिन जलाया हुआ प्रत्येक दीपक इस बात का संकेत होता है कि आने वाले सम्पूर्ण वर्ष में हम सभी सम्पूर्ण उत्साह के साथ अपने कार्यों और कर्तव्यों के प्रति समर्पित रहेंगे।
वर्तमान राजनीतिक परिवर्तन के फलस्वरूप हमारा भारत नए भारत के गौरवशाली स्वरूप की ओर बढ़ रहा है। गत 1200 वर्षों की परतंत्रता के काल खंड में भारत और भारतीयता की रक्षा के लिए अपना सर्वस्व अर्पण करने वाले करोड़ों भारतीयों का जीवनोद्देश्य साकार रूप में ले रहा है। भारत आज…
भारत और चीन के बीच तनाव की स्थिति निरंतर बढ़ती जा रही है। लद्दाख की ओर की सीमाओं का तय न होना दोनों देशों के विवाद का मुख्य कारण है। 2014 के पूर्व तक भारत की ओर से इस जनविहीन भूमि की ओर अधिक ध्यान न देने के कारण चीन ने धीरे-धीरे इस ओर से भारत की जमीन पर कब्जा करना शुरू कर दिया था।
भारतीय जीवन में हिंदी का स्थान केवल भाषा के रूप में नहीं रहा है; वरन् यह हमारी परंपरा और सभ्यता की पहचान रही है, हमारी भावना को मुखर करने का माध्यम रही है, हमारी अभिव्यक्ति का साधन रही है और संकट काल में हमारी शक्ति रही है। परस्पर संबंधों को अधिक मजबूत बनाने के लिए हिंदी संभाषण से अधिक प्रभावी माध्यम और कोई नहीं है।
देश के आत्मनिर्भर होने का अर्थ है जितना हम आयात करते है उससे कुछ गुना अधिक निर्यात अवश्य हो। जितना हम विदेशों से लें उससे अधिक उन्हें देने की क्षमता विकसित करें। आत्मनिर्भर बनने की दिशा की ओर बढ़ते समय यह अतिविश्वास भी न रखें कि हम सब कुछ कर सकते हैं और यह न्यूनगंड भी न पालें कि भारत में कुछ हो ही नहीं सकता। ये दोनों ही विचार हमारी राह का रोड़ा बन सकते हैं। हमें हमारे बलस्थान और कमजोर पक्ष दोनों पर अपना ध्यान केंद्रित करना होगा।
महेन्द्र सिंह धोनी की इसी सफल कप्तानी के कारण क्रिकेट की ऐसी कोई ट्रॉफी नहीं है जो भारत के पास न हो। उनकी कप्तानी में भारत टेस्ट क्रिकेट में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहले क्रमांक पर रहा। 50 ओवर के विश्वकप और चैंपियंस ट्रॉफी पर भारत का कब्जा रहा। भारत को 20-20 विश्वकप का पहला विश्वविजेता बनाने का श्रेय भी धोनी को ही जाता है।