राष्ट्र विरोधी नारेबाजी में 4 पर रासुका, मंत्री ने दी तालिबान जाने की सलाह

Continue Readingराष्ट्र विरोधी नारेबाजी में 4 पर रासुका, मंत्री ने दी तालिबान जाने की सलाह

एक समय था जब जम्मू कश्मीर में पाकिस्तान के समर्थन में नारे लगते थे लेकिन यह नारा अब धीरे धीरे देश के कई राज्यों तक पहुंच चुका है। ताजा मामला मध्य प्रदेश से सामने आया है जहां पाकिस्तान के समर्थन में नारे लगाते कुछ लोग नजर आए। हालांकि पुलिस ने…

UNSC में भारत ने पाक व चीन को आतंकवाद पर घेरा

Continue ReadingUNSC में भारत ने पाक व चीन को आतंकवाद पर घेरा

अफगानिस्तान में तालिबान का कब्जा भारत सहित तमाम देशों के लिए खतरा है और तालिबान आतंकवाद का एक नया अड्डा बन सकता है। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) में भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने इस बात का जिक्र पूरे विश्व के सामने किया और कहा कि तालिबान के…

घर की चारदीवारी में कैद हो गईं अफगान महिलाएं

Continue Readingघर की चारदीवारी में कैद हो गईं अफगान महिलाएं

हाल में ही अफगानिस्तान की राजधानी काबुल पर जब तालिबान ने कब्जा किया तब वहां के राष्ट्रपति अशरफ गनी अपने निवास स्थान में नहीं थे। वे तालिबान के डर से पहले ही देश छोड़कर भाग गए थे और साथ में काफी कैश भी अपने साथ ले गए थे हालांकि कुछ…

खुली हवा से अंधेरी सुरंग में लौटता अफगानिस्तान

Continue Readingखुली हवा से अंधेरी सुरंग में लौटता अफगानिस्तान

लगभग दो दशकों तक अपनी सेनाओं के जरिए अफगानिस्तान में तालिबान आतंकियों को काबू में रखने के बाद जब अमेरिका ने वहां से अपने सैनिकों की निकासी शुरू की थी तभी से यह आशंकाएं व्यक्त की जा रही थीं कि समूचे  अफगानिस्तान पर  दुबारा तालिबान का कब्जा होने में अब…

तालिबानी कब्जे को लेकर बिगड़े मुस्लिम नेताओं के बोल

Continue Readingतालिबानी कब्जे को लेकर बिगड़े मुस्लिम नेताओं के बोल

अफगानिस्तान में किस तरह की तबाही चल रही है यह पूरी दुनिया से छुपा नहीं है। तालिबानी आतंकवादी क्या कुछ कर रहे है यह सभी को नजर आ रहा है। अफगानिस्तान की जनता देश छोड़ने के लिए हवाई जहाज के टायर तक पर बैठ जा रही है यह सब किसी…

तालिबान से बढ़ी भारत की चुनौतियां

Read more about the article तालिबान से बढ़ी भारत की चुनौतियां
A Taliban fighter looks on as he stands at the city of Ghazni, Afghanistan August 14, 2021. REUTERS/Stringer NO RESALES. NO ARCHIVES
Continue Readingतालिबान से बढ़ी भारत की चुनौतियां

भारत के संदर्भ में विचार करें तो अफगानिस्तान में तालिबान के हाथों सत्ता आने से केवल उसकी आंतरिक राजनीति नहीं बदली बल्कि पूरे क्षेत्र की भू -राजनीतिक -सामरिक स्थिति व्यापक रूप से परिवर्तित हो गई है ? केवल भारतीय ही नहीं, विश्व भर में शांति के लिए समर्पित सभी देशों के वासी अफगानिस्तान…

पुलवामा हमले का आतंकी इस्माइल उर्फ लंबू को सेना ने किया ढेर

Continue Readingपुलवामा हमले का आतंकी इस्माइल उर्फ लंबू को सेना ने किया ढेर

भगवान के घर देर है लेकिन अंधेर नहीं, ऐसा हम इसलिए कह रहे है कि शनिवार को पुलवामा आतंकी हमले का एक आतंकी इस्माइल उर्फ लंबू मारा गया। भगवान ने उन 40 परिवार वालों की प्रार्थना सुन ली जिसने बेटे पुलवामा ब्लास्ट में शहीद हुए थे। सेना के जवानों के लिए…

अफजल को फांसी के मायने

Continue Readingअफजल को फांसी के मायने

इन फंक्तियों को जब आफ फढ़ रहे होंगे तब तक अफजल गुरु विस्मृतियों में चला गया होगा। जनस्मृतियां अल्फजीवी होती हैं। समय के ज्वार के साथ वे उफनती हैं और समय ही उन्हें विस्मृति में डाल देता है। लेकिन इतिहास किसी को क्षमा नहीं करता। खास कर किसी राष्ट की प्रभुता को चुनौती देने वाले को तो बिल्कुल नहीं। कभी-कभी सरकारें राजनीति या कूटनीति के चलते गलतियां कर देती हैं तो उन्हें भी इसका खामियाजा भुगतना पड़ता है।

आंतकी का अन्त

Continue Readingआंतकी का अन्त

आखिरकर महाराष्ट्र शासनने, बडी गोपनीयता रखते हुये 26/11 का नृशंस आतंकी अजमल आमिर कसाब को सुबह 7.30 बजे येवरडा जेल मे दि. 21/11 को फांसी पे लटका दिया।

‘कसाबी’ मनोवृत्ति का परिचय

Continue Reading‘कसाबी’ मनोवृत्ति का परिचय

दही-हंडी का पर्व अत्यंत उत्साह से मनाने के बाद निश्चिंत हुए मुंबई वासियों को अगले ही दिन भारी दहशत का सामना करना पड़ा। आसाम और म्यानमार में घुसपैठी मुसलमानों पर हो रहे तथाकथित अत्याचार के विरोध में रजा अकादमी तथा अन्य मुस्लिम संगठनों ने प्रदर्शन किया।

धमाकों से आम मुसलमान भी उतना ही दु:खी

Continue Readingधमाकों से आम मुसलमान भी उतना ही दु:खी

जुलाई की मनहूस शाम को मुंबई बम धमाकों पर सारे देश की आवाज बनकर भारतीय मुसलमानों और उनके नेताओं ने गहरा शोक जताया।

ओसामा के खात्मे के बाद

Continue Readingओसामा के खात्मे के बाद

1 मई 2011 यह दिन भी 9/11 या 26/11 जैसा सब के ध्यान में रहने वाला साबित होगा। वैसे वह पहले भी था ही। उस दिन रूस में साम्यवादी क्रांति होकर जारशाही नष्ट हो गई थी और मजदूरों के नेता कहे जाने वाले (जो पहले क्रांतिकारियों के नेता और बाद में क्रूर कर्मा साबित हुए) लेनिन, स्तालिन आदि का राज आया।

End of content

No more pages to load