समाज सुधारक महात्मा ज्योतिबा फुले

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महात्मा ज्योतिबा फुले का जन्म 11 अप्रैल, 1827 को पुणे (महाराष्ट्र) में हुआ था। इनके पिता श्री गोविन्दराव फूलों की खेती से जीवनयापन करते थे। इस कारण इनका परिवार फुले कहलाता था। महाराष्ट्र में उन दिनों छुआछूत की बीमारी चरम पर थी। अछूत जाति के लोगों को अपने चलने से अपवित्र हुई…

‘मोगली पाठशाला’ से संवरती बच्चों की जिंदगी

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ब्रिटिश लेखक रुडयार्ड किपलिंग के उपन्यास ‘द जंगल बुक’ का पात्र ‘मोगली’ 1990 के दशक में लोगों में खूब मशहूर हुआ था। उत्तर प्रदेश के कतर्नियाघाट वन्य जीव अभयारण्य में वन विभाग और सामाजिक संगठनों के सहयोग से चलाई जा रही ‘मोगली पाठशाला’ जंगल से सटे क्षेत्रों में रहने वाले…

पाठ्यक्रम संशोधन का विरोध क्यों ?

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वास्तविक इतिहासबोध राष्ट्र की विशेष शक्ति होता है। सच्चा इतिहास बोध राष्ट्र बोध जगाता है। राष्ट्रबोध जन गण मन की संजीवनी है। बच्चों को वास्तविक इतिहासबोध की शिक्षा देना राष्ट्रराज्य का कर्तव्य है। राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान परिषद (एन.सी.ई.आर.टी.) ने सम्यक विचार के बाद दसवीं, ग्यारहवीं और बारहवीं कक्षा के लिए…

डिग्रियों पर विवाद और ज्ञान की महिमा

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अकसर तर्क अंहकार को जन्म देता है, जो अपरिपक्व ज्ञान पर आधारित होता है। हमारे देश में प्रमाण-पत्र और उपाधि (डिग्री) आधारित शिक्षा यही कर रही है। भारत में प्रतिभाओं की कमी नहीं है, लेकिन शालेय शिक्षा कुशल-अकुशल की परिभाषाओं से ज्ञान को रेखांकित किए जाने के कारण महज कागजी…

मूल्य आधारित शिक्षा है सुख की अनुभूति का आधार

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हमारी प्राचीन गौरवशाली भारतीय संस्कृति समस्त विश्व के सुख, समृद्धि एवं शान्ति की कामना करती है। भारतीय चिन्तन में व्यष्टि से समष्टि तक का विचार किया गया है। भारतीय पर्व इस बात का प्रतीक हैं। यहां पर प्राय: प्रतिदिन कोई न कोई लोकपर्व, व्रत, पूजा एवं अनुष्ठान का दिवस होता…

मातृभाषा में हो सम्पूर्ण शिक्षण- करुणाशंकर उपाध्याय

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अमेरिका की 33 करोड़ की आबादी में से मात्र 25 करोड़ लोग ही लोग ही अंग्रेजी भाषा बोलते हैं। इंग्लैंड में अंग्रेजी के साथ-साथ आयरिश भाषा भी बोली जाती है। इस प्रकार यदि हम सारी भाषाओं का विश्लेषण करें तो पहली, दूसरी और तीसरी भाषा के तौर पर हिंदी का…

एक मिथक : सबसे ज्यादा आईएएस देने वाला बिहार

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बिहार इंटर का रिजल्ट प्रकाशित हो गया है। टॉप आई खगड़िया की विज्ञान संकाय छात्रा आयुषी नंदन को मीडिया ने सबसे पहले अपने फ्रेम में लिया। बोर्ड के टॉपरों से एक कोर्टेसी प्रश्न अवश्य ही रहता है- आपको क्या बनना है? जवाब- आईएएस। होना भी चाहिए। टॉपर आईएएस डिजर्व करते…

मदरसा ‘इको-सिस्टम’ का विरोध आवश्यक

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गत दिनों वाम-उदारवादी और स्वघोषित सेकुलरवादी, असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा पर भड़क उठे। इसका कारण उनका वह हालिया वक्तव्य है, जिसमें उन्होंने दावा किया है कि असम में लगभग 600 मदरसे बंद किए जा चुके है और राज्य सरकार अब सभी मदरसों को बंद करना चाहती है। यूं…

वैदिक गणित के संन्यासी प्रवक्ता

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संन्यासी को देखकर लोगों के मन में उनके त्याग तथा अध्यात्म के प्रति श्रद्धा जाग्रत होती है। कई बार लोग इन्हें कम पढ़ा-लिखा समझते हैं; पर इनमें से अनेक उच्च शिक्षा विभूषित होते हैं। आद्य शंकराचार्य द्वारा स्थापित चार पीठों में से एक श्री गोवर्धन पीठ (जगन्नाथ पुरी) के जगद्गुरु…

किशोरावस्था की चुनौतियां और समाधान

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हमारे परिवार एवं समाज में किशोर वय लड़कों के थोड़े अजीब व्यवहार को लेकर कहा जाता  है कि, यह उम्र का असर है लेकिन लड़कियों के साथ ऐसा नहीं है। उनके शारीरिक परिवर्तन की वजह से होने वाली मानसिक परेशानियों को समझने के लिए कोई तैयार नहीं। परंतु कुछ घरों…

बदलते दौर में महिलाओं में आए परिवर्तन

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भारतीय संस्कृति में महिलाओं की स्थिति पुरुषों के समान ही रही लेकिन 11वीं सदी से लेकर 19वीं सदी के मध्य के संक्रमण काल में यहां महिलाओं की स्थिति अत्यधिक बुरी हो गई। एक बार फिर उसमें तेजी आई है लेकिन इसमें बढ़ाव की आवश्यकता है ताकि समाज की प्रगति में…

मोदीराज में आधी आबादी की ऊंची उड़ान

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मोदी सरकार ने शुरुआत से ही महिलाओं की प्रगति पर विशेष ध्यान देना आरम्भ कर दिया था। आज उसके सुपरिणाम समाज में परिलक्षित होने लगे हैं। देश की महिलाएं उन्मुक्त भाव से राष्ट्र के विकास में अपने योगदान को प्रबल बना रही हैं। प्रधान मंत्री कई बार अपने भाषणों में…

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